जैविक खेती को बढ़ावा, किसानों को मिली मुफ्त ट्रेनिंग और उर्वरक

कार्यक्रम के अंत में KRIBHCO की ओर से किसानों को निःशुल्क जैविक तरल उर्वरक और दरांती बांटे गए. किसानों ने सरकार द्वारा की गई इस पहल का स्वागत किया और खुशी जाहिर की.

Lucknow | Published: 1 Mar, 2025 | 04:52 PM

किसानों की आमदनी बढ़ाने और जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिए उन्नाव जिले के सफीपुर ब्लॉक स्थित साधन सहकारी समिति, अताहा में एक विशेष कार्यक्रम आयोजित किया गया. इस पहल के तहत किसानों को जैविक खेती की आधुनिक तकनीकों, मृदा परीक्षण के महत्व और उर्वरकों के संतुलित उपयोग की जानकारी दी गई.

कार्यक्रम की खास बातें

यह कार्यक्रम अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष 2025 के तहत आयोजित किया गया, जिसमें कृषक भारती सहकारी (KRIBHCO) के क्षेत्रीय अधिकारी सर्वजीत सिंह ने नेतृत्व किया. कार्यक्रम की अध्यक्षता साधन सहकारी समिति, अताहा के पूर्व अध्यक्ष कुलदीप द्विवेदी ने की, जबकि सहकारी विकास के अपर जिला अधिकारी विकास श्रीवास्तव मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद रहे.

किसानों को दी गई महत्वपूर्ण जानकारी:

-मृदा परीक्षण का महत्व: संतुलित उर्वरकों के उपयोग से मिट्टी की उर्वरता बनी रहती है और पैदावार बेहतर होती है.
-जैविक खेती पर चर्चा: कृषि वैज्ञानिकों ने फसलों के रोग प्रबंधन और जैविक खेती के फायदों पर विस्तार से बताया.
-पशुपालन की जानकारी: पशु चिकित्सकों ने बताया कि किस तरह पशुपालन से किसानों की आमदनी बढ़ाई जा सकती है.
-सरकारी योजनाओं की जानकारी: पीएम प्रणाम योजना, भूमि सुधार और आम के बागानों में रोग नियंत्रण पर भी चर्चा हुई.

किसानों के लिए तोहफा
कार्यक्रम के अंत में KRIBHCO की ओर से किसानों को निःशुल्क जैविक तरल उर्वरक और दरांती बांटे गए. किसानों ने सरकार द्वारा की गई इस पहल का स्वागत किया और खुशी जाहिर की.

किसानों का फायदा

कृषि वैज्ञानिकों ने किसानों को रासायनिक उर्वरकों की जगह जैविक खाद और तरल उर्वरकों के उपयोग के लाभ बताए. जैविक खेती से मिट्टी की गुणवत्ता सुधरती है, फसल की पैदावार बढ़ती है और लागत भी कम होती है. इसके अलावा, किसानों को बायोगैस प्लांट और जैविक खाद निर्माण के लिए भी प्रेरित किया गया.

यह कार्यक्रम किसानों को आधुनिक कृषि तकनीकों से जोड़ने और जैविक खेती को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ.