Farmers Protest: 4 मई की बातचीत से पहले किसानों का केंद्र को अल्टीमेटम, घेराव की चेतावनी
आंदोलन का नेतृत्व कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक और किसान मजदूर मोर्चा ने पंजाब सरकार के प्रतिनिधियों का बायकॉट करने का फैसला किया है.

सभी फसलों पर एमएसपी गारंटी कानून समेत 12 अन्य मांगों को लेकर पंजाब में आंदोलन कर रहे किसान संगठनों के नेताओं की 4 मई को केंद्र सरकार के साथ बातचीत होनी है. आंदोलन का नेतृत्व कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक और किसान मजदूर मोर्चा ने पंजाब सरकार के प्रतिनिधियों का बायकॉट करने का फैसला किया है. किसान नेताओं ने कहा कि 19 मार्च को खनौरी और शंभू सीमा पर किसानों पर की गई बर्बरता और सामान चोरी के विरोध में 6 मई को और फसल नुकसान की भरपाई को लेकर 2 मई को पंजाब के सभी डीसी कार्यालयों पर जुटेंगे किसान, विरोध प्रदर्शन के साथ थाना घेराव की घोषणा की गई है.
संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा की लुधियाना के श्री रेरु साहिब गुरुद्वारा में आज 26 मई को बैठक हुई. बैठक में जगजीत सिंह डल्लेवाल, सरवन सिंह पंधेर, अभिमन्यु कोहाड़ समेत दिग्गज किसान नेता शामिल रहे. डल्लेवाल के नेतृत्व में किसान नेताओं ने आंदोलन की आगामी रणनीति पर विस्तृत चर्चा करके कई महत्वपूर्ण फैसले लिए हैं. किसान नेताओं ने कहा कि किसानों के हक के लिए मांगें नहीं माने जाने तक लड़ाई जारी रहेगी.
पंजाब सरकार के प्रतिनिधियों से बात नहीं करेंगे किसान
किसान नेताओं ने बताया कि दोनों मोर्चों ने फैसला किया है कि केंद्र सरकार और किसान संगठनों के बीच 4 मई को प्रस्तावित बैठक में पंजाब सरकार के प्रतिनिधियों का बायकॉट करने का फैसला किया है. किसान नेताओं ने कहा कि 4 मई की बैठक में पंजाब सरकार के किसी भी प्रतिनिधि को शामिल न किया जाए. कहा गया कि अगर 4 मई की बैठक में पंजाब सरकार के प्रतिनिधि शामिल होंगे तो संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा के प्रतिनिधि बैठक में भाग नहीं लेंगे. इस विषय में दोनों मोर्चों की ओर से केंद्र सरकार को एक पत्र भी भेजा जा रहा है.
बर्बर कार्रवाई और गिरफ्तार से किसानों में गुस्सा
किसान नेताओं ने कहा कि 19 मई को जब बैठक खत्म होने के बाद वापस मोर्चों पर जा रहे किसान नेताओं को पंजाब सरकार ने धोखे से गिरफ्तार कर जेल में भेज दिया और शम्भू व दातासिंहवाला-खनौरी किसान मोर्चों को हिंसात्मक तरीके से कुचलने का काम किया था. इससे किसानों में पंजाब की आम आदमी पार्टी की सरकार के प्रति भारी रोष है. इसलिए दोनों मोर्चों ने फैसला किया है कि वह पंजाब सरकार के प्रतिनिधियों का बायकॉट करेंगे.
इन मांगों को लेकर 2 और 6 मई को घेराव का ऐलान
किसान नेताओं ने बताया कि आगजनी और ओलावृष्टि से गेहूं की फसल में हुए नुकसान की भरपाई के लिए 2 मई को पंजाब के सभी डीसी कार्यालयों पर जुटेंगे किसान. इसके अलावा 19 मार्च को शम्भू व दातासिंहवाला-खनौरी किसान मोर्चों पर पुलिस द्वारा हिंसात्मक कारवाई करने व किसान नेता बलवंत सिंह बेहरामके समेत अन्य किसानों के साथ बदसलूकी व मारपीट करने के दोषी पुलिस अधिकारियों को निलंबित करने, 19 मार्च को किसानों के चोरी हुए समान की भरपाई और मंडियों में जे-फार्म के अनुसार किसानों से सिर्फ उतराई व सफाई का ही खर्च लेने समेत अन्य मांगों पर देशभर में जिला-स्तर पर ज्ञापन दिया जाएगा. किसानों के साथ बदसलूकी व मारपीट करने के दोषी पुलिस अधिकारियों को निलंबित करने की मांग पर 6 मई को शम्भू पुलिस थाने का घेराव किया जाएगा.