बनास डेयरी ने शुरू की सीमन उत्पादन इकाई, पशुपालकों को मिलेगा सस्ता सीमन

इस नई तकनीक के माध्यम से किसान मात्र 100 रुपये में सीमन की खुराक प्राप्त कर सकेंगे, जिससे उन्हें बेहतर नस्ल के दुधारू पशु पालने में सहायता मिलेगी और दूध उत्पादन बढ़ेगा.

बनास डेयरी ने शुरू की सीमन उत्पादन इकाई, पशुपालकों को मिलेगा सस्ता सीमन
Noida | Published: 8 Mar, 2025 | 02:29 PM

गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने शुक्रवार को बनास डेयरी में अत्याधुनिक सीमन (वीर्य) उत्पादन इकाई का वर्चुअल उद्घाटन किया. यह इकाई उत्तर गुजरात के बनासकांठा जिले के दामा गांव में स्थापित की गई है, जिसका उद्देश्य पशुपालकों को उच्च गुणवत्ता वाला सीमन उपलब्ध कराना और दुग्ध उत्पादन को बढ़ावा देना है. इस पहल से किसान कम लागत में बेहतर नस्ल के दुधारू पशु प्राप्त कर सकेंगे, जिससे उनकी आमदनी में वृद्धि होगी.

देश का पहला स्वदेशी सीमन सेक्स-सॉर्टिंग केंद्र

गुजरात विधानसभा के अध्यक्ष और बनास डेयरी के चेयरमैन शंकरभाई चौधरी ने बताया कि देश का पहला स्वदेशी सीमन सेक्स-सॉर्टिंग केंद्र अब पूरी तरह से कार्यरत है. उन्होंने ‘मेक इन इंडिया’ तकनीक विकसित करने में अहम योगदान देने के लिए राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (NDDB) के वैज्ञानिकों का आभार जताया. इस नई तकनीक के माध्यम से किसान मात्र 100 रुपये में सीमन की खुराक प्राप्त कर सकेंगे, जिससे उन्हें बेहतर नस्ल के दुधारू पशु पालने में सहायता मिलेगी और दूध उत्पादन बढ़ेगा.

डेयरी किसानों के लिए वरदान

बनास डेयरी की यह नई पहल खासतौर पर उन पशुपालकों के लिए फायदेमंद होगी, जो उन्नत नस्ल के पशु पालने की इच्छा रखते हैं. अब उन्हें महंगे सीमन पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा. इसके अलावा, यह परियोजना आवारा पशुओं की संख्या कम करने में भी सहायक होगी, क्योंकि यह तकनीक 90% तक मादा संतान जन्म दर सुनिश्चित करती है. इससे दुग्ध उत्पादन बढ़ेगा और किसानों को आर्थिक रूप से मजबूती मिलेगी.

कृत्रिम गर्भाधान में नई क्रांति

बनासकांठा जिले में करीब 28 लाख मवेशी हैं, जिनकी आनुवंशिक उन्नति से क्षेत्र में डेयरी उद्योग को नई दिशा मिलेगी. बनास डेयरी ने कृत्रिम गर्भाधान तकनीक में नए आयाम जोड़े हैं, जिससे किसानों को बेहतर नस्ल के मवेशी उपलब्ध होंगे. यह कदम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत उठाया गया है, जिससे भारतीय डेयरी क्षेत्र को मजबूती मिलेगी और देश के दुग्ध उत्पादन में इजाफा होगा.

सस्ती दरों पर उपलब्ध होगा सीमन

बनास डेयरी द्वारा विकसित इस सीमन सेक्स-सॉर्टिंग तकनीक से किसानों को किफायती दरों पर लाभ मिलेगा. पहले जहां एक खुराक की लागत 730 रुपये थी, अब इसे घटाकर 280 रुपये कर दिया गया है. वर्तमान में किसानों को यह खुराक 100 रुपये में उपलब्ध कराई जा रही है, जिसे और कम कर 50 रुपये तक लाने की योजना बनाई गई है. इससे किसानों की लागत घटेगी और उन्हें अधिक मुनाफा होगा.

डेयरी क्षेत्र में नए युग की शुरुआत

इस परियोजना से न केवल डेयरी किसानों को सीधा फायदा मिलेगा, बल्कि यह पूरे भारतीय डेयरी उद्योग के लिए एक क्रांतिकारी पहल साबित होगी. इस तकनीक के उपयोग से भारत में दूध उत्पादन में बढ़ोतरी होगी, जिससे पशुपालकों की आय में वृद्धि होगी. बनास डेयरी का यह प्रयास पशुपालन क्षेत्र में बड़ा बदलाव लाने की ओर एक मजबूत कदम है, जो अन्य राज्यों के लिए भी प्रेरणादायक साबित होगा.

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