तेलंगाना के 179 गांवों में किसान सरकार के खिलाफ उतरे प्रदर्शन पर, जानें क्यों
वारंगल के नरसंपेट विधानसभा क्षेत्र की 179 ग्राम पंचायतों में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. इनका आरोप है कि सत्ताधारी कांग्रेस सरकार किसानों से किए गए अपने वादों को पूरा करने में असफल रही है.

तेलंगाना के वारंगल में इस समय हजारों किसान और खेत मजदूरों विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. इन किसानों और मजदूरों को बीआरएस नेताओं का समर्थन मिल रहा है. ये किसान वारंगल के नरसंपेट विधानसभा क्षेत्र की 179 ग्राम पंचायतों में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. इनका आरोप है कि सत्ताधारी कांग्रेस सरकार किसानों से किए गए अपने वादों को पूरा करने में असफल रही है. इन सबके बीच ही राज्य सरकार की तरफ से ‘रायथु भरोसा’ स्कीम के तहत किसानों के लिए धनराशि जारी कर दी गई है.
20000 किसान शामिल प्रदर्शन में
नरसंपेट के पूर्व विधायक पेड्डी सुदर्शन रेड्डी के नेतृत्व में हुए इस प्रदर्शन में करीब 20000 किसानों और खेत मजदूरों ने हिस्सा लिया. इन किसानों ने ऋण माफी, रायथु बीमा, रायथु भरोसा योजनाओं और कृषि बोनस पर कार्रवाई की मांग करते हुए बैनर पकड़े हुए थे. रेड्डी ने सरकार की आलोचना करते हुए बोनस योजना को ‘फर्ज’ बताया. उन्होंने आरोप लगाया कि यह किसानों को राहत देने के बजाय उन पर बोझ डाल रही है. उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक सरकार अपने वादे पूरे नहीं करती, तब तक विरोध प्रदर्शन और बढ़ेंगे.
किसानों के खाते में गई धनराशि
तेलंगाना सरकार ने तीसरे चरण के तहत 3 एकड़ तक की ज़मीन वाले किसानों के लिए ‘रायथु भरोसा’ योजना के तहत धनराशि जारी की है. राज्य के कृषि मंत्री तुम्मला नागेश्वर राव ने इस बारे में जानकारी दी. उन्होंने बताया कि तीन एकड़ तक की कृषि जमीन वाले 9,56,422 किसानों के खातों में 1,230.98 करोड़ रुपये जमा कर दिए गए हैं. मंत्री ने बताया कि अब तक 44,82,265 किसानों को कुल 3,487.82 करोड़ रुपये दिए गए हैं जिसमें 58.13 लाख एकड़ जमीन शामिल है. इसके अलावा, 56,898 किसानों को 38.34 करोड़ रुपये दिए गए हैं, जिनके रिकॉर्ड हाल ही में अपडेट किए गए हैं.
उन्होंने जानकारी दी कि 26 जनवरी से अब तक तीन चरणों में ‘रायथु भरोसा’ फंड जारी किया जा चुका है. इसमें हर चरण में प्रति मंडल एक गांव को शामिल किया गया है. पहले चरण में 9.29 लाख एकड़ कृषि भूमि के लिए 17.03 लाख किसानों को 557.54 करोड़ रुपये वितरित किए गए. दूसरे चरण में 18.19 लाख एकड़ के लिए 13.23 लाख किसानों को 1,091.95 करोड़ रुपये दिए गए.